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बाइबिल पढ़ने हेतु सहायक-बिंदु

परमेश्‍वर ने हमें अपना वचन यानी पवित्र शास्त्र दिया है ताकि हम जान सकें कि वह कौन है और वे हमसे क्या चाहते हैं। हम बाइबिल इसीलिए पढ़ते हैं ताकी परमेश्वर को बेहतर तरीके से जान पाएं और वो काम कर सकें जो परमेश्वर चाहते हैं। ये सिद्धांत हर जगह समान हैं। लेकिन सवाल यह है कि: कहाँ से पढ़ना शुरू किया जाए? आपकी परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए हमने विभिन्न सुझाव दिए हैं। इन संस्करणों में पृष्ठ स्मृति की मूल संरचना समान है,पर सिर्फ सुझाये गये पाठ अलग है। नीचे की ओर आपको कुछ "आदर्श" संस्करण मिलेंगें जो लुका की किताब और प्रेरितों के काम से अध्ययन शुरू करने का सुझाव देते हैं ।

बाइबिल पढ़ने हेतु सहायक-बिंदु(आशा भरी सात कथाएं)

  • इसमें नया नियम की सात कहानियों का चयन शामिल है|
  • "आधुनिक पश्चिमी" पृष्ठभूमि वाले लोगों के लिए अच्छा है।

बाइबिल पढ़ने हेतु सहायक-बिंदु (सृष्टि से शुरुआत करें)

  • उत्पत्ति, मत्ती और प्रेरितों के काम से पढ़ना शुरू करें।
  • मुस्लिम समाज के लोगों के लिए यहां से शुरुआत करना अच्छा है।

बाइबिल पढ़ने हेतु सहायक-बिंदु

हमारा अनुरोध है कि जब आप बाइबिल पढ़ना चालू करें, तो इन किताबों से शुरुआत करें:

1. लूका
2. प्रेरितों

प्रार्थना के साथ अपना बाइबिल अध्ययन चालू करें: परमेश्वर से बाइबिल समझने के लिए प्रकाशन मांगे।

इन अध्यायों से सीखने हेतु इन प्रश्नों (दूसरी ओर) का उत्तर दीजिये।

अपने विचारों, प्रश्नो और परमेश्वर आप से क्या बोल रहे हैं उसे दूसरों को बताइये या अपनी किताब में लिखिए।

सामूहिक बाइबिल अध्ययन

बैठक की रूपरेखा:

1. आप कैसे हैं?
2. जवाबदेही
पिछले अध्ययन से आपने किन बातों का अपनी जीवन शैली में परिवर्धन किया है?
3. आभार व्यक्त करें
बीते हफ्ते में आपने कौनसी बातें अच्छी अनुभव की है ?परमेश्वर का शुक्रिया दें।


4. पढ़ें
साथ में लेख. प्रभु से समझ के लिए प्रार्थना करें।
5. पुनः बोलें
लेख को (बिना देखे)।
6. जवाब दें
लेख के बारे में निम्नलिखित प्रश्नों का:
Head-32.pngHead: What do we learn here? (About God / people / ...)
Heart-32.png Heart: What touches my heart? (How did they feel? How do I feel about ... ?)
Hands-32.png Hands: How can we apply this? (Example to follow? Who can we share this with?)



7. Goals
Set personal goals until next meeting.
8. Pray
Take time to pray for each other.

Rules:

  • Stick to the Bible passage
  • Let everyone participate
  • Encourage each other